अनुक्रमणिका
१ | संघटनेचे सूत्र | श्री समर्थ रामदासस्वामी | ५७ |
२ | समर्थांचा भक्तिमार्ग | कै.श्री.अप्रबुध्द | ५८ |
३ | समर्थांचा श्रीरामपंथ | प्रा.रा.ना.घाटोळे | ६८ |
४ | समर्थांची संघटनसुत्रे | प्रा.द.का.तारे | ७३ |
५ | श्रीसमर्थ यांचा स्त्रीविषयक दृष्टीकोन | प्रा.सौ.चेतना दुरूगकर | ८१ |
६ | आमचे आश्रमीय जीवन | डॉ.गु.वा.पिंपळापूरे | ८९ |
७ | चंद्र, वनस्पती जीवन व मानवी जीवन (लेखक ३ रा) | प्रा.रा.ना.घाटोळे | ९० |
८ | वाचकांची पत्रे | ||
१ | विविध क्षेत्रातील राखीवतेचे थैमान | आत्रेय अमळनेरकर | १०३ |
२ | राखीवतेची फलिते : आर्थिक क्षेत्रात | वि.श्री.गोखले | १०५ |