अनुक्रमणिका
| १ | सूत उवाच | स्कंदपुराण उत्तराखंड | ३६७ |
| २ | संपादकीय- एका जनार्दनी दत्त। सबाह्य स्वानंद भरीत | ३६८ | |
| ३ | प. पू. अप्रबुद्धांच्या कविता | ३७३ | |
| ४ | धर्मशास्त्रसंस्कार | कै. श्रीअप्रबुद्ध | ३७४ |
| ५ | ब्राह्मण: धर्मशास्त्रीय अध्ययन | प्रा. म. शं. वाबगावकर | ३८३ |
| ६ | अयोध्या रामजन्म भूमी शिलालेख | प्रा. म. रा. जोशी | ३९० |
| ७ | योगसाधना करणारा लिंकन हॉल | प्रा. म. रा. जोशी | ४०२ |
| ८ | योगवासिष्ठ… मोक्षाचे चार द्वारपाल | डॉ. विमळ पवनीकर | ४०३ |
| ९ | ईश्वरी कृपा | प्रा. श्री. नामा ए. व्ही. | ४०९ |
| १० | वाणी (वाचा) | डॉ. भा. वि. देशकर | ४१९ |
| ११ | भाषेचे मंत्रसामर्थ्य | डॉ. सारिका ठोसर | ४२२ |
| १२ | हिंदू विवाह संस्था…. | सूरीन उसगांवकर | ४२७ |
| १३ | भावार्थरामायण | रत्नाकर बापुराव मंचरकर | ४३७ |
| १४ | कमला | सुधाकर देशपांडे | ४४६ |
| १५ | पुस्तक परिचय | माधव मधुपुरीचा | ४५० |
| १६ | प्रतिक्रिया-१ | डॉ. भा. वि. देशकर | ४५३ |
| १७ | पत्रव्यवहार-१ | र. ग. दांडेकर | ४६५ |




